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डिंडौरी म प्र………. रानी अवंति बाई चौक से पुल तक लाखो रुपये की लागत की सीसी सड़क ध्वस्त सौंदर्यीकरण में भ्रष्टाचार का आरोप सूचना का अधिकार अधिनियम की उड़ा रहे धज्जियां 

डिंडौरी म प्र……….

रानी अवंति बाई चौक से पुल तक लाखो रुपये की लागत की सीसी सड़क ध्वस्त

सौंदर्यीकरण में भ्रष्टाचार का आरोप

सूचना का अधिकार अधिनियम की उड़ा रहे धज्जियां 

 

 

 

डिंडौरी । नगर परिषद डिंडौरी के अध्यक्ष पंकज सिंह तेकाम विकास के बड़े बड़े दावे करते हुए सार्वजनिक कार्यक्रमों में अनेकों बार 300 करोड़ रुपये विकास कार्यो के खर्च किये जाने की बात कह चुके हैं, जिसको लेकर नगर में चर्चा है कि आखिर किन कार्यो में 3 अरब रुपये व्यय किया गया होगा..? हल्की सी बारिश में सड़कों का तालाब बन जाना हो या सड़को से ऊपर नाली का निर्माण कराने का मामला हो,या फिर वार्डो में लगे स्वागत द्वारों का हवा में उड़ने की बात हो…सड़को की घटिया निर्माण की बात हो या नगर में व्याप्त गंदगी की हो,इस तरह से अनेकों तरह के लापरवाही और भ्रष्टाचार के आरोप नपा अमले और जनप्रतिनिधियों के विरूद्ध लगता रहा है।

 

 

नगर के युवा अधिवक्ता सम्यक जैन ने तमाम अनियमितता को लेकर उच्च स्तर पर शिकायत दर्ज कराया गया था,अधीक्षण यंत्री नगरीय विकास विभाग के द्वारा जाँच टीम गठित कर जाँच कराया गया था किंतु राजनीतिक दवाब के चलते आज तक जांच रिपोर्ट प्रस्तुत नही किया गया है, वही डिंडौरी कलेक्टर ने तमाम अनियमितताओं की जांच को लेकर तीन सदस्यीय टीम गठित कर समय सीमा में जाँच किये जाने का आदेश जारी किया है। की गई शिकायत के अनुसार उपयंत्री दीक्षित के कार्यकाल में क्रय की गई समस्त प्रकार की सामग्री खरीदी के कृय आदेश , स्टॉक पंजी , एवं भुगतान किए गये बिलो एवं नस्ती की जाँच व कृय सामग्री का स्टॉक पंजी एवं भौतिक सत्यापन कराये जाने की मांग की गई है।

 

 

मुख्य मार्ग में विद्युतीकरण के कार्य की तकनीकी स्वीकृति नगरी प्रशासन विभाग के एसओआर से प्राप्त की गई है या नहीं जबकि इस संबंध में पहले भी शिकायत की गई थी इस मामले की गहनता से जांच कराने की मांग की गई है, इसी तरह स्वच्छता अभियान के तहत फ्लेक्स एवं दीवार लेखन के कार्य की दरें नगरी प्रशासन विभाग द्वारा तय की गई हैं उसके पश्चात भी निकाय में स्थानीय स्तर पर टेंडर लगाकर अधिक दर पर भुगतान किये जाने का आरोप लगाया है,स्वच्छता अभियान के तहत प्रचार – प्रसार , दीवार लेखन , फ्लेक्स के नाम पर विगत 2-3 वर्षों में की गई भुगतान के जाँच करने की मांग की गई हैं, इसी तरह विभाग द्वारा लाखों रुपए की पाइपलाइन क्रय की गई है जबकि पाइप लाइन डालने का कार्य प्राक्कलन तैयार कर किया जाना था अगर जॉइंट जोड़ने की बात होती तो बिना प्राक्कलन के किया जा सकता था लेकिन यह काम लाखों रुपए का था इसीलिए प्राक्कलन तैयार कर तकनीकी स्वीकृति उपरांत ई टेंडर के माध्यम से खरीदी किया जाना था जिससे विभाग को फायदा होता है , खरीदी एवं उपयोग की जाँच किये जाने समेत नपा द्वारा विद्युतिकरण के कार्यों में 18 फीसदी जीएसटी का भुगतान नियम विरुद्ध किए जाने का आरोप है,प्रशासन विभाग के एसओआर से तकनीकी स्वीकृति प्राप्त ना कि जाकर एमपीईबी के एसओआर तकनीकी स्वीकृति प्राप्त कि गई हैं

 

 

 

जबकि अगर दोनों विभाग के एसओआर की तुलना की जाए तो नगरी प्रशासन की दरें कम है , नपा द्वारा किराये से वाहन लगाने हेतु जारी विज्ञापन अखबार में प्रकाशित एवं लगाये गये समस्त वाहनो के अनुबंध पत्र एवं भुगतान की जॉच किया जाये , अनुबंधित वाहनों के लॉगबुक एवं डीजल का बिल बाउचर जॉच करने का एवं वार्ड न . 01 एवं अवंती बाई चौक में रोड का निर्माण कार्य 9 महीने पहले किया गया था जो की पूरी तरह गुणवत्ताहीन है ,कार्यपूर्ण होने के पहले से ही गिटटी और रेत अलग – अलग हो रहै , सीसी सड़क जर्जर हो चुकी है ,विगत 2 वर्षों में नपा द्वारा किस – किस वाहन के नाम पर डीजल पर्ची कटी जा रही है जारी डीजल पर्ची एवं वाहनो की लॉगबुक की जाँच एवं सौंदर्यीकरण के अंतर्गत कराये गये समस्त कार्यो के गुणवत्ता की एवं भुगतान की गई राशि की जॉच किये जाने की मांग की है।

 

 

 

कलेक्टर ने गठित किया जांच दल

कलेक्टर में शिकायत मिलने पर दिनाँक 16/09/22 को जांच दल गठित करते हुए एसडीएम बलवीर रमन, संभागीय परियोजना यंत्री लोक निर्माण विभाग पी आई यू एवं प्रकाश चंद मीणा वरिष्ठ लेखा अधिकारी लोकनिर्माण विभाग को जांच की जिम्मेदारी सौंपी है। कलेक्टर ने एक सप्ताह में अभिमत सहित जांच रिपोर्ट प्रस्तुत करने के आदेश जारी किए हैं।

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