खन्दौली :सरकार द्वारा स्वास्थ्य सुविधाओं को बेहतर बनाने के लिए अनेकों प्रयास किए जा रहे हैं जगह-जगह सीएससी पीएससी एवं गांव-गांव उप स्वास्थ्य केंद्र खोले गए हैं लेकिन अधिकारियों की उदासीन ता के कारण मरीजों के इलाज के लिए बनाए गए स्वास्थ्य केंद्रों पर मनमानी चल रही है करोड़ों खर्च करने के बावजूद भी उप स्वास्थ्य केंद्र बीमार पड़े हुए हैं गेट पर ताले लटके हुए हैं उनकी हालत खस्ता बनी हुई है उनके अंदर गोबर के उपले बनाए जा रहे हैं अधिकारियों की नजर नहीं पड़ती कौन कर्मचारी तैनात है किसी को नहीं पता ग्रामीणों का आरोप है जबसे उप स्वास्थ्य केंद्र बनकर तैयार हुआ है एक दो बार कर्मचारी आए हैं उसके बाद गेट पर ताला लटका रहता है कोई नहीं आता बीमार बच्चों को इधर-उधर लेकर भटकना पड़ता है परेशान महिलाएं भी दूर-दूर तक दवाई लेने जाती है लेकिन उप स्वास्थ्य केंद्र पर कोई मौजूद नहीं रहता मामला ब्लॉक खंदौली के गांव बगल घूसा पोया के नाम से रोड किनारे तालाब के ऊपर बना उप स्वास्थ्य केंद्र की स्थिति इन दिनों खस्ता बनी हुई है गेट पर ताला लटका रहता है स्वास्थ्य सुविधाएं देने के लिए बड़े बड़े अक्षरों में लिखा हुआ है लेकिन कौन तैनात है कौन कर्मचारी इस उप स्वास्थ्य केंद्र पर व्यवस्थाएं संभालेगा किसी को नहीं पता ग्रामीणों का आरोप है कि जब से उप स्वास्थ्य केंद्र बनकर तैयार हुआ है एक दो बार कर्मचारी आए हैं उसके बाद ताला पड़ा हुआ है कोई नहीं बाहर से तो नजारा अच्छा दिखाई दिया लेकिन जब अंदर की तरफ प्रवेश किया तो उप स्वास्थ्य केंद्र की हालत खस्ता बनी हुई थी गोबर के उपले बनाए जा रहे थे कमरों में मेज कुर्सी धूल फांक रही थी डिब्बों में बंद दवाई या खराब हो चुकी थी धूल के अंबार लगे हुए थे बाथरूम शौचालय के आस पास दो-दो फीट ऊंचे घास के पेड़ खड़े हुए थे कीड़े मकोड़ों का आश्रम बन चुका था उप स्वास्थ्य केंद्र यहां कौन आता है कोई नहीं सरकार द्वारा करोड़ों खर्च करने के बावजूद भी सफेद हाथी साबित हो रहा है उप स्वास्थ्य केंद्र आखिरकार अधिकारियों की नजर इस तरफ क्यों नहीं जाती क्षेत्र के नेता इस तरफ ध्यान क्यों नहीं देते ग्रामीणों की सुविधा के लिए बनाई गई उप स्वास्थ्य केंद्र की हालत खराब है ग्रामीण उपचार के लिए दूर-दूर भटकते रहते हैं जबकि हर सुविधा उनके गांव में मौजूद है फिर भी अधिकारियों की आंखें बंद है इस तरफ किसी का ध्यान नहीं जाता
बिल्डिंग आधी अधूरी या घपला
उप स्वास्थ्य केंद्र जिस हालत में पड़ा हुआ है इससे साफ जाहिर हो जाता है कि जिस ठेकेदार द्वारा इसको बनाया गया है उसने आधा अधूरा काम किया है या फिर कमीशन खोरी के कारण काम बंद कर दिया गया कमीशन खोरी ज्यादा हो गई इसलिए इस हालत में उप स्वास्थ्य केंद्र पड़ा हुआ है कौन इस तरफ ध्यान करेगा किसी को कोई फर्क नहीं पड़ता कुछ समय बाद बिल्डिंग जर्जर हो जाएगी और सरकार का पैसा मिट्टी हो जाएगा इससे किसी को कोई लेना देना नहीं कमीशन खोरी के कारण इस हालत में उप स्वास्थ्य केंद्र बीमार पड़ा हुआ है
टीकाकरण होता है तभी आते हैं यहां
उप स्वास्थ्य केंद्र के बारे में पोईया की प्रधान मिथिलेश देबी के पति द्वारा बताया गया कि उप स्वास्थ्य केंद्र पर टीकाकरण होता है तभी एएनएम और अन्य कर्मचारी आते हैं बाकी कोई नहीं आता उप स्वास्थ्य नया बना था ठेकेदार बीच में ही काम रोक कर भाग गया इसलिए इस हालत में पड़ा हुआ है एक कमरा सही है उसी में आकर बैठ जाते हैं और टीकाकरण कर चले जाते हैं
संवाददाता संतोष कुमार