कौशिक नाग-कोलकाता कोलकाता में छह महीने में 112 मामलों में, मेयर मानसूनों के हमले देते ही राज्य के कीटनाशक पैर पसारने लगा है। राज्य स्वास्थ्य विभाग ने पहले ही सभी नगरों को अलर्ट कर दिया है। कोलकाता नगर निगम भी सावधान हो चुका है। अब तक मेट्रोपोलिटन में वार्ड स्तर पर लोगों को जागरूक किया जाएगा। उधर, निगम में आयोजित “टॉक टू मेयर” कार्यक्रम के समापन पर मेयर फिरहाद हकीम ने बताया कि कोलकाता में पिछले साल की तुलना में अब तक हिंसा नियंत्रित दिख रही है। उन्होंने बताया कि पिछले साल की तुलना में इस साल प्राकृतिक आपदाओं में 37 फीसदी की गिरावट आई है। बताया जाता है कि पिछले साल जनवरी से जुलाई के पहले सप्ताह तक अलार्म के 179 मामले सामने आए थे, जबकि इस साल जुलाई के पहले सप्ताह तक अलार्म ने 112 लोगों को शिकार बनाया था। मेयर ने बताया कि, आम लोगों को और अधिक जागरूक होने की जरूरत है। उन्होंने कहा कि किसी भी सरकार व नगर निगम अकेले अपने दम पर तनाव को मात नहीं दे सकता। लोगों को जागरूक होना चाहिए. जहां-तहां पीने के बाद दाब, ताजे बर्तन और पानी जमा कर नहीं रखें, क्योंकि ताजे बर्तन के लावा साफ पानी में ही छिड़कते हैं।
मेयर व राज्य के शहरी विकास मंत्री फिरहाद हकीम ने बताया कि अब शहरी क्षेत्रों में कोई समस्या नहीं है, बल्कि ग्रामीण क्षेत्रों में भी पांव पसार रहा है, क्योंकि गांव में शहरीकरण की वजह से लोग छतदार मकान में रह रहे हैं। ऐसे में छतों पर पानी जमने के कारण मच्छरों से बचाव के लिए मच्छरदानी का इस्तेमाल किया जाता है। मेयर ने सप्ताह में एक दिन छत और घर के आसपास सफाई करने की अपील की। मेयर ने बताया कि महानगर में जल्द ही पर्यावरण को लेकर निगम की ओर से प्रचार अभियान चलाया जाएगा।