बालराई में माता पिता सहमति समिति राजस्थान विवाह संशोधन की हुई बैठक, कहीं लिऐ प्रस्ताव।
ढोला, सुमेरपुर।
ढोला के निकटवर्ती बालराई गांव स्थित संत श्री डोवेश्वर महाराज समाधि स्थल पर मंगलवार को विवाह में माता-पिता की सहमति अधिकार संघर्ष समिति की प्रथम बैठक विचार-विमर्श और सर्वसम्मति के साथ सम्पन्न हुई। बैठक में 36 कौमों के प्रमुख प्रतिनिधियों, गांव-ढाणी के बुजुर्गों, युवाओं तथा समिति सदस्यों ने भाग लिया। बैठक का उद्देश्य वर्तमान समय में बढ़ते सामाजिक मामलों, गलतफहमियों तथा बिना अभिभावकीय सहमति के हो रहे विवाहों से उत्पन्न समस्याओं पर ठोस रणनीति तैयार करना रहा।
समिति सदस्य रतनसिंह गिरवर व शैतानसिंह राजपुरोहित ने हमारे संवाददाता पाबू सिंह कुम्पावत को बताया कि विचार गोष्ठी में विवाह कानून में आवश्यक संशोधनों की जरूरत पर विस्तार से चर्चा की गई। उन्होंने कहा कि समाज में लगातार बढ़ रहे आपसी विवाद, पारिवारिक टूटन और युवा-युवतियों द्वारा जल्दबाजी में लिए जा रहे निर्णय पूरे समाज के लिए चिंता का विषय बन चुके हैं। ऐसे में विवाह प्रक्रिया में माता-पिता की सक्रिय भूमिका सुनिश्चित करना समय की मांग है।
बैठक में संघर्ष समिति की विस्तृत कार्ययोजना प्रस्तुत की गई, जिसमें सर्वसमाज की कार्यकारिणी गठन, गांव व ढाणी स्तर पर सहमति अभियान की रूपरेखा, युवाओं के मार्गदर्शन हेतु परामर्श शिविर तथा समाज में जागरूकता फैलाने के लिए विभिन्न कार्यक्रमों का प्रस्ताव रखा गया। वक्ताओं ने कहा कि माता-पिता बच्चों के जीवन के बड़े निर्णयों में सबसे महत्वपूर्ण सलाहकार होते हैं, इसलिए विवाह जैसे संवेदनशील विषय में उनकी सहमति को अनिवार्य किया जाना चाहिए।
समिति सदस्य सुमेर सिंह मेडतिया सहित कई वक्ताओं ने सरकार का ध्यान इस गंभीर विषय की ओर आकर्षित करते हुए कहा कि बिना माता-पिता की सहमति होने वाले विवाह न केवल पारिवारिक तनाव बढ़ा रहे हैं, बल्कि सामाजिक ताने-बाने को भी प्रभावित कर रहे हैं। उन्होंने मांग की कि सरकार इस संबंध में कानून को कठोर बनाए और अभिभावक की सहमति को कानूनी रूप से आवश्यक करे।
वक्ताओं ने चेतावनी देते हुए कहा कि यदि सरकार इस “काले प्रावधान” पर रोक लगाने और माता-पिता की सहमति को अनिवार्य करने की दिशा में ठोस कदम नहीं उठाती है, तो आगामी पंचायतीराज चुनावों में वोट बहिष्कार का व्यापक आह्वान किया जाएगा। बैठक में सर्वसम्मति से यह निर्णय लिया गया कि समाज अपनी एकजुटता के माध्यम से इस अभियान को गांव-ढाणी तक पहुंचाएगा और शांति, मर्यादा तथा सामाजिक संतुलन को बनाए रखने के लिए संघर्ष जारी रहेगा। बैठक में संत समागम बावजी ललित भारती जी का दुपट्टा पहना कर स्वागत किया गया तथा इस समिति की बैठक में श्रीमती लहर कंवर भाटी , उससे कंवर भाटी , लाल कंवर राजपुरोहित, रूपसिंह जोधा पावा , आनंद सिंह बबली , रमनसिंह गिर वर , करणसिंह चाणोद , सुमेर सिंह मन वार , निक्शा बाईसा राठौड़, मरूधरा कंवर गलथनी एवं के ई जनों ने अपने विचार प्रकट किये। इस बैठक में उक्त समिति का भी गठन किया गया जिसमें मात्र शक्ति लहर कंवर भाटी, उससे कंवर, शिक्षा बाईसा राठौड़, मरूधर कंवर गलथनी वहीं पुरूष वर्ग में रतन सिंह गिर वर , शैतान सिंह राजपुरोहित, नगाराम सीर वी , देवाराम तथा भोमाराम फोजी को चुना गया। कार्यक्रम का सफल संचालन शैतान सिंह राजपुरोहित ने किया।
पाली जिला ब्योरो चिप पाबू सिंह कुम्पावत कि रिपोर्ट।