मुंबई के घाटकोपर के सबसे गरीब पत्रकार उम्मीदवार चुनाव लड़ने के लिए पैसा नहीं जिगरा चाहिए :-महाराष्ट्र में 20 नवंबर को विधानसभा चुनाव होना है.चुनाव लड़ रहे 7 हजार से ज्यादा उम्मीदवारों में घाटकोपर पूर्व से बीजेपी के पराग शाह सबसे अमीर उम्मीदवार हैं. लेकिन उसी घाटकोपर पूर्व से एक गरीब पत्रकार भी चुनावी मैदान में है, नाम है एडवोकेट नित्यानंद रामजतन शर्मा,नित्यानंद ने बताया कि वह पांच मुद्दों को लेकर जनता के बीच जाना चाहते हैं. पहला मुद्दा घाटकोपर ईस्ट में रमाबाई कामराज नगर में डंपिंग की समस्या है. इस क्षेत्र में डंपिंग की वजह से टीबी मरीज बढ़ते जा रहे हैं. इस इलाके में एक भी डिग्री कॉलेज नहीं है.घाटकोपर के ही पंत नगर, गारोड़िया नगर और रश्मिनगर में ट्रैफिक बड़ी समस्या है. यहां पार्किंग की भी बहुत किल्लत है. उनका तीसरा मुद्दा नो डोनेशन, नो एडमिशन है.नित्यानंद ने कहा कि जितने भी लोग चुनाव लड़ रहे हैं उनमें वह सबसे पढ़े-लिखे उम्मीदवार हैं.उन्होंने कहा कि भले ही वह श्रीमंत नहीं लेकिन शिक्षित जरूर हैं.लेजिस्लेटिव एग्जीक्यूटिव ज्युडिशियरी क्या होती है और फंग्शनिंग ऑफ वर्क क्या होता है उनको अच्छे से पता है. वह 14 सालों तक पत्रकार रहे हैं और अभी एडवोकेट भी हैंनित्यानंद ने कहा कि चुनाव का दौर है. लोग उनका किस तरह से स्वागत कर रहे हैं, यह देखना चाहिए. इससे पता चलता है कि उनको जनता किस कदर पसंद करती है. उनका चुनाव चिन्ह स्लेट है. उनको लोगों का भरपूर प्यार मिल रहा है. पहले वह भी पत्रकार के तौर पर जनता के मुद्दे उठाते थे,नित्यानंद ने कहा कि वह जनता के बीच जाकर उनके मुद्दे उठा रहे हैं, इससे लोगों में उनको लेकर विश्वास बढ़ा है.वह युवा हैंइसलिए लोग उन पर विश्वास जता रहे हैं.नित्यानंद ने कहा कि ये मिथ है कि चुनाव लड़ने के लिए पैसा लगता है.चुनाव के लिए तो जिगरा लगता है.वो जिगरा उनके पास है.ये हिम्मत लोगों के अटूट प्यार से मिलती है. महायुति और महाविकास अघाड़ी में अन्य दल हैं लेकिन नित्यानंद के साथ कौन है, इस सवाल पर नित्यानंद ने कहा कि उनको कभी भाई तो कभी ताई का उम्मीदवार कहा गया. लेकिन वह तो माता रमाबाई के हैं. उन्होंने कहा कि ‘कोई भी लक्ष्य बड़ा नहीं, जीता वही जो डरा नहीं’. उनका नारा है न धर्मवर, न जातिवर, वोट करो पार्टीवर. आशुतोष मिश्रा इंडीयन टीवी न्यूज़ मुंबई !