महाराष्ट्र में BJP उद्धव ठाकरे के सामने खड़ी करने जा रही एक और परेशानी,वीर सावरकर के पोते को विधायक बनाने की तैयारी :- राजनीतिक हलकों में चर्चा है कि राज्यपाल सी पी राधाकृष्णन पांच सदस्यों को नॉमिनेट कर सकते हैं। इसमें वीर सावरकर के पोते रंजीत सावरकर का नाम भी शामिल है। इसके अलावा राज्यपाल की तरफ से जिन्हें विधान परिषद में भेजने की चर्चा हैं। उनमें बीजेपी के पूर्व सांसद और विधानसभा चुनावों में निर्दलीय नामांकन दाखिल करने वाले गोपाल शेट्टी और लोकसभा और विधानसभा चुनाव में हार का सामना करने वाले राम सातपुते का नाम शमिल है। राम सातपुते मालाशिरस से चुनाव में उतरे थे। इस सीट पर एनसीपी (शरद चंद्र पवार) के उम्मीदवार उत्तमराव जानकार जीते हैं।राज्यपाल की तरफ से नॉमिनेट किए जाने वाले कुल पांच सदस्यों में दो सदस्य महायुति के सहयोगी दलों से हो सकते हैं। अजित पवार की अगुवाई वाली एनसीपी से नाना काते और एकनाथ शिंदे की अगुवाई वाली शिवसेना से किशन चंद्र तनवानी के विधान परिषद जाने की उम्मीद है। राज्यपाल ने सीपी राधाकृष्णन ने महाराष्ट्र विधानसभा चुनावों से पहले सात सदस्यों को विधान परिषद का सदस्य नियुक्त किया था। इसमें मनीषा कायंदे और चित्रा वाघ को जगह मिली थी। महाराष्ट्र विधान परिषद की उपसभापति नीलम गोरहे हैं,रंजीत सावरकर विनायक दामोदर सावरकर के पोते हैं। वह वीर सावरकर राष्ट्रीय स्मारक संस्था से जुड़े हैं। इसके अध्यक्ष महाराष्ट्र के एक्स डीजीपी प्रणीव दीक्षित हैं। रंजीत सावरकर हिंदू धर्म के समर्थक हैं। उनका रुख हिंदुत्व और राष्ट्रीयता का है। सावरकर कहते आए हैं कि मैं बुद्धिजीवी और राष्ट्रवादी हूं। देश में हिंदुत्व की वकालत करने वाली सरकार है। मौजूदा राज्यपाल सी पी राधाकृष्णन से पहले रमेश बैश्य और भगत सिंह काेश्यारी के वक्त पर रंजीत सावरकर का नाम चर्चा में आया था, लेकिन इस बार उनके एमएलसी बनने की प्रबल संभावना व्यक्त की जा रही है। वीर सावरकर के खिलाफ गलत टिप्पणी को लेकर रंजीत सावरकर ने कोर्ट में राहुल गांधी के खिलाफ मानहानि का केस भी हुआ है,आशुतोष मिश्रा इंडियन टीवी न्यूज़ मुंबई l